मनस्वी अपर्णा II
न मिला नजर यूं मुझसे मेरा दिल मचल न जाए
तेरी सांस की तपिश से मेरा जिस्म जल न जाए
//१//
मेरे लब पे हाथ रख दे कि बहक रहा है आलम
कोई बात बेखुदी में जुबां से निकल न जाए
//२//
तेरा इंतजार लाजिम है बराए वक़्त लेकिन
यूं ही राह तकते-तकते मेरी उम्र ढल न जाए
//३//
मेरे कातिले सितमगर तू बचा के रखना खुद को
तेरा तीर ये पलटकर कहीं तुझ पे चल न जाए
//४//
मेरे मेहरबान बढ़ के इसे थाम वक़्त रहते
तेरे थामने से पहले कहीं दिल संभल न जाए
//५//
है अजीब कशमकश सी जो रोके ही जा रही है
वो जो बात है जुबां पर कहीं फिर से टल न जाए
//६//
तू पयामे इश्क कासिद जरा सब्र से सुनाना
कहीं सुनते ही खुशी से मेरा दम निकल न जाए
//७//