हेमलता म्हस्के II नई दिल्ली। आज से 133 साल पहले 28 नवंबर को महात्मा ज्योतिबा फुले का निधन हुआ था।...
साहित्य आरोहण
भूतनाथ का भूत आज भी जिंदा है
संजय स्वतंत्र II हिंदी में जासूसी उपन्यासों का जब उल्लेख होता है तो सबसे पहले बाबू देवकी नंदन खत्री...
शैलेंद्र : मानवीय संवेदनाओं के रचयिता
अश्रुत पूर्वा II हिंदी सिनेमा में अगर मानवीय संवेदनाओं को सबसे अधिक किसी गीतकार ने सहेजा है और रचा...
सृजनात्मकता के बहुरंगी आयाम गुलजार
अश्रुत पूर्वा II गीतकार, कवि-शायर और फिल्म निर्देशक। संगीत की भी गहरी समझ। कितने ही आयाम हैं गुलजार...
प्रेमचंद : एक याद कलम के सिपाही की
अश्रुत पूर्वा II आज के दौर के लेखकों के लिए मुंशी प्रेमचंद मिसाल हैं जिन्होंने शोषण, वर्गवाद...
नामवर सिंह यूं ही नहीं हुए नामवर
अश्रुत पूर्वा II नई दिल्ली। हिंदी साहित्य आलोचना की जब भी बात होगी तो रामचंद्र शुक्ल और आचार्य...
‘वाराही’ के रंगमंच पर कविताओं का इंद्रधनुष
अश्रुत पूर्वा II नई दिल्ली। पिछले दिनों कोलकाता महानगर की साहित्यिक और सामाजिक संस्था ‘वाराही’ की...
नई उत्सुकता पैदा करता ‘एक नया ईश्वर’
अश्रुत पूर्वा II नई दिल्ली। वरिष्ठ पत्रकार व लेखक बलबीर पुंज ने कहा कि काव्य संग्रह ‘एक नया ईश्वर’...
महासमुद्र है रवींद्र नाथ टैगोर का लेखन : प्रयाग शुक्ल
अश्रुत पूर्वा II रवींद्र नाथ टैगोर को उनकी 162वीं जयंती पर बंगाल से लेकर पूरी दुनिया में एक बार फिर...
सुर्खियों में अश्रुतपूर्वा
अश्रुतपूर्वा डेस्क II ‘विश्वपुस्तक मेला 2023, प्रगति मैदान, नई दिल्ली, में अश्रुतपूर्वा के...
काव्याटन-3 भोपाल का सफल समापन
अश्रुतपूर्वा II केन्द्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय परिसर भोपाल और अश्रुतपूर्वा के संयुक्त तत्वाधान में...
बालेंदु दाधीच : जो जीते हैं हिंदी के लिए
अश्रुतपूर्वा II गीतकार मजरूह सुल्तानपुरी की बड़ी मशहूर पंक्ति है- मैं अकेला ही चला था जानिब ए मंजिल...